hindi Best Moral Stories Books Free And Download PDF

Stories and books have been a fundamental part of human culture since the dawn of civilization, acting as a powerful tool for communication, education, and entertainment. Whether told around a campfire, written in ancient texts, or shared through modern media, Moral Stories in hindi books and stories have the unique ability to transcend time and space, connecting people across generations and cult...Read More


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उजाले की ओर –संस्मरण By Pranava Bharti

एक बार की बात है स्वामी विवेकानंद रेल से कही जा रहे थे। वह जिस डिब्बे में सफर कर रहे थे, उसी डिब्बे में कुछ अंग्रेज यात्री भी थे। उन अंग्रेजों को साधुओं से बहुत चिढ़ थी। वे साधुओं क...

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सात भाई और उनकी बहन की दुखद कथा By Raju kumar Chaudhary

सात भाई और उनकी बहन की दुखद कथाभाग 1: गाँव और परिवार का परिचयबहुत समय पहले, एक घने जंगलों और पहाड़ियों से घिरे गाँव में सात भाई और उनकी प्यारी बहन रहते थे। गाँव का नाम था सुमंगलपुर...

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आज़ादी का असली मतलब By mood Writer

गाँव के एक छोटे से स्कूल में कक्षा 5 का छात्र आरव हर साल 15 अगस्त का बेसब्री से इंतज़ार करता था।उसके लिए 15 अगस्त का मतलब था – झंडा फहराना, देशभक्ति के गाने सुनना, और अंत में मिठाई...

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समीक्षा - कहानी नशा मुंशी प्रेमचंद By नंदलाल मणि त्रिपाठी

 सम्राट मुन्सी प्रेम चंद्र जी कीकहानियों की समीक्षा करना किसी भी साधारण साहित्यकार के लिये कदाचित संभव नहीं है ।मात्र यही गौरव की बात हो सकती है की महान कथाकार के जन्म दिवस पर उन्ह...

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कफ़न प्रेमचंद By mood Writer

झोंपड़े के द्वार पर बाप और बेटा दोनों एक बुझे हुए अलाव के सामने चुपचाप बैठे हुए हैं और अन्दर बेटे की जवान बीवी बुधिया प्रसव-वेदना से पछाड़ खा रही थी। रह-रह कर उसके मुँह से ऐसी दिल...

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रक्षा बन्धन By Raju kumar Chaudhary

रक्षा बंधन की हार्दिक शुभकामनाएं रक्षा बंधन भारतीय संस्कृति का एक अत्यंत पवित्र और भावनात्मक पर्व है, जो भाई-बहन के प्रेम, स्नेह और अटूट रिश्ते का प्रतीक है। इस दिन बहनें अपने भाइय...

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बरसात के बाद की धूप By Anju Gupta

अहमदाबाद की बारिश जैसे शहर को नहीं, रागिनी के भीतर के सूनेपन को भिगो रही थी। खिड़की के बाहर रुक-रुक कर गिरती बूँदें, बहती सड़कें और बिजली के टूटे हुए प्रतिबिंब—सब कुछ किसी धीमे और...

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मजाकिया By mukesh more

गाँव का नाम था बड़गाँव और उस गाँव की सबसे हल्की चीज़ थी वहाँ की हवा… और सबसे भारी चीज़ मज़ाकिया की बातें। मज़ाकिया, यानी गोवर्धन,नाम तो गोवर्धन रखा गया था, लेकिन किसी ने वो नाम कभी...

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एक नाबालिग की आख़िरी चीख By Luqman Gangohi

ये कहानी सिर्फ एक लड़की की नहीं...ये उन तमाम मौन की चीख है, जिसे हमने “मामला संवेदनशील है” कहकर दबा दिया।ये उस माँ की आंख है जो रोते-रोते सूख गई, और उस मिट्टी की शर्म है जिसने एक न...

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चाय के किस्से - 2 By Rohan Beniwal

           कटिंग चाय और कटे हुए नंबर राजेंद्र नगर की एक संकरी गली में, जहाँ सुबह की पहली किरणें अभी ठीक से पहुँची भी नहीं थीं, "आदित्य टी स्टॉल" सुबह 6 बजे ही अपने छोटे से चूल्हे औ...

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आवारा लड़के By Anurag mandlik_मृत्युंजय

थका हुआ गौरव जब शाम को अपने रूम में आया,आज उसकी आँखें फिर से लाल थी। सारे मोहल्ले वाले और पड़ोसियों में वही हमेशा की तरह कानाफूसी शुरू हो चुकी थी,, जाने क्या करते हैं ये लड़के? मुझे...

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एक थाली खाना By kajal Thakur

गाँव का नाम था — सूरजपुर। वहाँ एक बूढ़ी माँ रहती थी, नाम था सावित्री देवी। उनके तीन बेटे थे – राजेश, सुरेश और महेश। तीनों शादीशुदा थे और अलग-अलग रहते थे। माँ पहले सबके साथ रहती थीं...

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अंधेरी कोठरी का रहस्य - भाग 5 By Pawan

अब तक......एरियल को जंगल में वो रहस्यमयी साधु मिला, जिसने उसे बताया कि उसका पतन एक सज़ा नहीं बल्कि चुनाव था। लेकिन जैसे-जैसे एरियल सवाल पूछता गया, साधु की आंखों में कुछ छिपा हुआ डर...

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घर वापसी By Rajesh Maheshwari

घर वापसी कई वर्ष पूर्व जब जमींदारी प्रथा विद्यमान थी। एक नगर के पास नर्मदा नदी के किनारे एक गांव था जिसमें एक जमींदार बहादुर सिंह अपने परिवार के साथ रहते थे और खेती किसानी करके अपन...

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जिंदगी के रंग - 1 By Raman

आज इस शोर भरे मेट्रो में भी मुझे अकेला पन लग रहा था , मेरे चारों तरफ कितने लोग थे जो इस समय  अपने काम से वापस घर  जा रहे थे । कुछ फोन पर बातें कर रहे थे तो कुछ फोन देख रहे थे। कुछ...

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सौंदर्य एक अभिशाप! - पार्ट 12 By Kaushik Dave

"सौंदर्य एक अभिशाप !"(भाग-१२)राजकुमारी चित्रा अपने बगीचे में सूरज सिंह से मिलती है। सूरज सिंह अपने दोस्त से मिलने आया हुआ है।राजकुमारी चित्रा सूरज सिंह को अपना प्यार जताती है।चित्र...

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रुह... - भाग 8 By Komal Talati

                                     ८.बस थोड़ी दूर जाकर एक बस स्टॉप पर रुकती है। पायल खिड़की वाली सीट पर बैठी बाहर लोगों को देख रही थी। तभी उसकी नजर एक परिवार पर टिक गई थी। करीब द...

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कोई मेरा नहीं By Sharovan

कोई मेरा नहीं. . .शरोवन / कहानी*** 'मैं किसका हूँ?''पता नहीं.''कौन मेरा है?''है ही नहीं.'किसी शायर के समान उपरोक्त पंक्तियों की दिल पर चोट मारने वाल...

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पुराने बक्से की यादें By Balkrushna Rathod

कहानी का शीर्षक: "पुराने बक्से की यादें"गर्मियों की छुट्टियों में आरव अपने दादी-दादा के गांव आया था। शहर की तेज़ रफ्तार ज़िंदगी से दूर, गांव की मिट्टी में कुछ खास अपनापन था जो उसे...

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मेहनत का फल By Vijay Sharma Erry

नीचे लगभग 2000 शब्दों में विस्तृत संस्करण प्रस्तुत है:मेहनत का फलगाँव के एक छोटे-से कच्चे मकान में एक साधारण सा परिवार रहता था — पिता रामचरण, माँ सीता और उनकी इकलौती बेटी रीना। यह...

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उज्जैन एक्सप्रेस - 1 By Lakhan Nagar

विषय सूची     प्राक्कथन अध्याय 1 : रमन - पढाई या दबाव   अध्याय 2 : सुजल - प्रेम और पतन   अध्याय 3 : अमृत - कर्ज या फ़र्ज अध्याय 4 : सौरभ - नशे में डूबती युवा आत्मा  अध्याय 5 :...

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पर्यावरण की संभाल By Vijay Sharma Erry

एक छोटे से गाँव में राहुल नाम का एक लड़का रहता था। वह बहुत ही शरारती और जिद्दी था। उसे पेड़-पौधों से कोई लगाव नहीं था। वह अक्सर अपने दोस्तों के साथ मिलकर पेड़ों की डालियाँ तोड़ देत...

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अवैध संबंध By Vishal Saini

मनुष्य का जीवन एक अमूल्य उपहार है, जो केवल भोग और वासना के लिए नहीं, बल्कि धर्म से जीने और अपने आत्मिक विकास के लिए मिला है। परन्तु आज के समय में जब नैतिकता और मर्यादा का पतन हो रह...

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काल की करवट By mukesh more

"काल जब करवट लेता है,तो सिर्फ़ समय नहीं,जिंदगी की दिशा, रिश्तों की परिभाषा और सपनों की मंज़िल भी बदल जाती है।जो आज है, वही कल नहीं होता,और जो बीत गया, वो कभी वैसा लौटकर नहीं आत...

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माँ का आख़िरी खत - 1 By julfikar khan

  > "बेटा, जब तू ये खत पढ़ रहा होगा... शायद मैं इस दुनिया में नहीं होऊँगी।"   बस यही एक लाइन थी उस खत की शुरुआत में, जिसे अरमान ने माँ के पुराने संदूक से निकाला था। संदूक वो था जो...

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गाजा वार - भाग 6 By suhail ansari

   5: कल के बीज ,1 जून 2025 की सुबह रफाह पर एक भारी शांति के साथ शुरू हुई, जो गाजा पट्टी में 20 महीनों से चल रहे इजरायल-हमास युद्ध की तबाही के बीच एक भ्रामक सन्नाटा था। आमिना, 28,...

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जिंदगी का मतलब By Mohammad Samir

जीवन का अर्थ: एक गहरा अन्वेषण"जीवन का अर्थ" मानवजाति के सबसे पुराने और सबसे गहरे प्रश्नों में से एक है, जिसने सदियों से दार्शनिकों, धर्मशास्त्रियों, वैज्ञानिकों और व्यक्तियों को अप...

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घात - भाग 1 By नंदलाल मणि त्रिपाठी

घात भाग--1सेठ करम चंद कि कपड़े कि दुकान थी तीज त्यौहार एवं शादी व्याह जैसे शुभ मुहूर्त के अवसर आस पास के सभी लोग सेठ करम चंद कि ही दुकान से कपड़े कि खरीदारी करते सेठ करम चंद भी दरिया...

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चंदन के टीके पर सिंदूर की छाँह - 3 (अंतिम भाग) By Neelam Kulshreshtha

एपीसोड -3 नरेन ने अपनी आदत नहीं छोड़ी । रोज घर आते ही इशिता की बात करने लगते । वह चुपचाप नोट कर रहे थे कि मनु भी पास की कुरसी पर बैठा उन की एकएक बात ध्यान से सुनता रहता है और जैसे...

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उजाले की ओर –संस्मरण By Pranava Bharti

एक बार की बात है स्वामी विवेकानंद रेल से कही जा रहे थे। वह जिस डिब्बे में सफर कर रहे थे, उसी डिब्बे में कुछ अंग्रेज यात्री भी थे। उन अंग्रेजों को साधुओं से बहुत चिढ़ थी। वे साधुओं क...

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सात भाई और उनकी बहन की दुखद कथा By Raju kumar Chaudhary

सात भाई और उनकी बहन की दुखद कथाभाग 1: गाँव और परिवार का परिचयबहुत समय पहले, एक घने जंगलों और पहाड़ियों से घिरे गाँव में सात भाई और उनकी प्यारी बहन रहते थे। गाँव का नाम था सुमंगलपुर...

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आज़ादी का असली मतलब By mood Writer

गाँव के एक छोटे से स्कूल में कक्षा 5 का छात्र आरव हर साल 15 अगस्त का बेसब्री से इंतज़ार करता था।उसके लिए 15 अगस्त का मतलब था – झंडा फहराना, देशभक्ति के गाने सुनना, और अंत में मिठाई...

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समीक्षा - कहानी नशा मुंशी प्रेमचंद By नंदलाल मणि त्रिपाठी

 सम्राट मुन्सी प्रेम चंद्र जी कीकहानियों की समीक्षा करना किसी भी साधारण साहित्यकार के लिये कदाचित संभव नहीं है ।मात्र यही गौरव की बात हो सकती है की महान कथाकार के जन्म दिवस पर उन्ह...

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कफ़न प्रेमचंद By mood Writer

झोंपड़े के द्वार पर बाप और बेटा दोनों एक बुझे हुए अलाव के सामने चुपचाप बैठे हुए हैं और अन्दर बेटे की जवान बीवी बुधिया प्रसव-वेदना से पछाड़ खा रही थी। रह-रह कर उसके मुँह से ऐसी दिल...

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रक्षा बन्धन By Raju kumar Chaudhary

रक्षा बंधन की हार्दिक शुभकामनाएं रक्षा बंधन भारतीय संस्कृति का एक अत्यंत पवित्र और भावनात्मक पर्व है, जो भाई-बहन के प्रेम, स्नेह और अटूट रिश्ते का प्रतीक है। इस दिन बहनें अपने भाइय...

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बरसात के बाद की धूप By Anju Gupta

अहमदाबाद की बारिश जैसे शहर को नहीं, रागिनी के भीतर के सूनेपन को भिगो रही थी। खिड़की के बाहर रुक-रुक कर गिरती बूँदें, बहती सड़कें और बिजली के टूटे हुए प्रतिबिंब—सब कुछ किसी धीमे और...

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मजाकिया By mukesh more

गाँव का नाम था बड़गाँव और उस गाँव की सबसे हल्की चीज़ थी वहाँ की हवा… और सबसे भारी चीज़ मज़ाकिया की बातें। मज़ाकिया, यानी गोवर्धन,नाम तो गोवर्धन रखा गया था, लेकिन किसी ने वो नाम कभी...

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एक नाबालिग की आख़िरी चीख By Luqman Gangohi

ये कहानी सिर्फ एक लड़की की नहीं...ये उन तमाम मौन की चीख है, जिसे हमने “मामला संवेदनशील है” कहकर दबा दिया।ये उस माँ की आंख है जो रोते-रोते सूख गई, और उस मिट्टी की शर्म है जिसने एक न...

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चाय के किस्से - 2 By Rohan Beniwal

           कटिंग चाय और कटे हुए नंबर राजेंद्र नगर की एक संकरी गली में, जहाँ सुबह की पहली किरणें अभी ठीक से पहुँची भी नहीं थीं, "आदित्य टी स्टॉल" सुबह 6 बजे ही अपने छोटे से चूल्हे औ...

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आवारा लड़के By Anurag mandlik_मृत्युंजय

थका हुआ गौरव जब शाम को अपने रूम में आया,आज उसकी आँखें फिर से लाल थी। सारे मोहल्ले वाले और पड़ोसियों में वही हमेशा की तरह कानाफूसी शुरू हो चुकी थी,, जाने क्या करते हैं ये लड़के? मुझे...

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एक थाली खाना By kajal Thakur

गाँव का नाम था — सूरजपुर। वहाँ एक बूढ़ी माँ रहती थी, नाम था सावित्री देवी। उनके तीन बेटे थे – राजेश, सुरेश और महेश। तीनों शादीशुदा थे और अलग-अलग रहते थे। माँ पहले सबके साथ रहती थीं...

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अंधेरी कोठरी का रहस्य - भाग 5 By Pawan

अब तक......एरियल को जंगल में वो रहस्यमयी साधु मिला, जिसने उसे बताया कि उसका पतन एक सज़ा नहीं बल्कि चुनाव था। लेकिन जैसे-जैसे एरियल सवाल पूछता गया, साधु की आंखों में कुछ छिपा हुआ डर...

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घर वापसी By Rajesh Maheshwari

घर वापसी कई वर्ष पूर्व जब जमींदारी प्रथा विद्यमान थी। एक नगर के पास नर्मदा नदी के किनारे एक गांव था जिसमें एक जमींदार बहादुर सिंह अपने परिवार के साथ रहते थे और खेती किसानी करके अपन...

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जिंदगी के रंग - 1 By Raman

आज इस शोर भरे मेट्रो में भी मुझे अकेला पन लग रहा था , मेरे चारों तरफ कितने लोग थे जो इस समय  अपने काम से वापस घर  जा रहे थे । कुछ फोन पर बातें कर रहे थे तो कुछ फोन देख रहे थे। कुछ...

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सौंदर्य एक अभिशाप! - पार्ट 12 By Kaushik Dave

"सौंदर्य एक अभिशाप !"(भाग-१२)राजकुमारी चित्रा अपने बगीचे में सूरज सिंह से मिलती है। सूरज सिंह अपने दोस्त से मिलने आया हुआ है।राजकुमारी चित्रा सूरज सिंह को अपना प्यार जताती है।चित्र...

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रुह... - भाग 8 By Komal Talati

                                     ८.बस थोड़ी दूर जाकर एक बस स्टॉप पर रुकती है। पायल खिड़की वाली सीट पर बैठी बाहर लोगों को देख रही थी। तभी उसकी नजर एक परिवार पर टिक गई थी। करीब द...

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कोई मेरा नहीं By Sharovan

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पुराने बक्से की यादें By Balkrushna Rathod

कहानी का शीर्षक: "पुराने बक्से की यादें"गर्मियों की छुट्टियों में आरव अपने दादी-दादा के गांव आया था। शहर की तेज़ रफ्तार ज़िंदगी से दूर, गांव की मिट्टी में कुछ खास अपनापन था जो उसे...

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मेहनत का फल By Vijay Sharma Erry

नीचे लगभग 2000 शब्दों में विस्तृत संस्करण प्रस्तुत है:मेहनत का फलगाँव के एक छोटे-से कच्चे मकान में एक साधारण सा परिवार रहता था — पिता रामचरण, माँ सीता और उनकी इकलौती बेटी रीना। यह...

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विषय सूची     प्राक्कथन अध्याय 1 : रमन - पढाई या दबाव   अध्याय 2 : सुजल - प्रेम और पतन   अध्याय 3 : अमृत - कर्ज या फ़र्ज अध्याय 4 : सौरभ - नशे में डूबती युवा आत्मा  अध्याय 5 :...

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एक छोटे से गाँव में राहुल नाम का एक लड़का रहता था। वह बहुत ही शरारती और जिद्दी था। उसे पेड़-पौधों से कोई लगाव नहीं था। वह अक्सर अपने दोस्तों के साथ मिलकर पेड़ों की डालियाँ तोड़ देत...

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अवैध संबंध By Vishal Saini

मनुष्य का जीवन एक अमूल्य उपहार है, जो केवल भोग और वासना के लिए नहीं, बल्कि धर्म से जीने और अपने आत्मिक विकास के लिए मिला है। परन्तु आज के समय में जब नैतिकता और मर्यादा का पतन हो रह...

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काल की करवट By mukesh more

"काल जब करवट लेता है,तो सिर्फ़ समय नहीं,जिंदगी की दिशा, रिश्तों की परिभाषा और सपनों की मंज़िल भी बदल जाती है।जो आज है, वही कल नहीं होता,और जो बीत गया, वो कभी वैसा लौटकर नहीं आत...

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माँ का आख़िरी खत - 1 By julfikar khan

  > "बेटा, जब तू ये खत पढ़ रहा होगा... शायद मैं इस दुनिया में नहीं होऊँगी।"   बस यही एक लाइन थी उस खत की शुरुआत में, जिसे अरमान ने माँ के पुराने संदूक से निकाला था। संदूक वो था जो...

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गाजा वार - भाग 6 By suhail ansari

   5: कल के बीज ,1 जून 2025 की सुबह रफाह पर एक भारी शांति के साथ शुरू हुई, जो गाजा पट्टी में 20 महीनों से चल रहे इजरायल-हमास युद्ध की तबाही के बीच एक भ्रामक सन्नाटा था। आमिना, 28,...

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जिंदगी का मतलब By Mohammad Samir

जीवन का अर्थ: एक गहरा अन्वेषण"जीवन का अर्थ" मानवजाति के सबसे पुराने और सबसे गहरे प्रश्नों में से एक है, जिसने सदियों से दार्शनिकों, धर्मशास्त्रियों, वैज्ञानिकों और व्यक्तियों को अप...

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घात - भाग 1 By नंदलाल मणि त्रिपाठी

घात भाग--1सेठ करम चंद कि कपड़े कि दुकान थी तीज त्यौहार एवं शादी व्याह जैसे शुभ मुहूर्त के अवसर आस पास के सभी लोग सेठ करम चंद कि ही दुकान से कपड़े कि खरीदारी करते सेठ करम चंद भी दरिया...

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चंदन के टीके पर सिंदूर की छाँह - 3 (अंतिम भाग) By Neelam Kulshreshtha

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